Tuesday, November 5, 2024

Bleached beings

 

Hate consumed love

and life’s colors got bleached,

Dreams got washed away,

Smiles died,

Colorless people

despite all the external coloration of

fashion, make-up, design,

vibrant exhibition and thoroughfare.

Classical beats of life

 

Lives crossing path

for a meaning,

Lives drifting apart,

Again for a meaning,

I suppose.

Unswerving dedication to hope

 

From the musty corners

darkness can creep into one’s mind,

Fight it if you will,

or you can.

If you can’t manage,

let it come;

but at least don’t allow

it to feed further on your hopes,

There will be a day

when the openness of clear sky,

freshness of forests,

brightness of sunrays,

smiles and smells of flowers

will also come rushing in,

Like crusaders to wipe away

the last traces of dark.

Standing on the official tower of misery

On the far edge of pain

hanging over a precipice,--

where one loses all hope,

One step more

and it’s all darkness,

Stand there on the edge,

Ponder over choices,

To fall is the easiest choice,

But isn’t the easy choice

a trap laid by death itself?

Sometimes it’s possible to go back

and walk into life’s embrace.


Saturday, October 19, 2024

अतीत के आईने से

 अतीत के आईने में आज झांका तो 24 साल पुराना अस्तित्व मुस्कराया दशकों की धूल के पीछे से। और कहा मुझे इसी शांति से जीते रहना ताकि मैं भी अपनी झलक तुम्हारे भविष्य में देख पाऊं अगर किसी दिन भविष्य के आईने में देखने का मेरा मन करे तो।



मीठा भ्रम

 होने और ना होने के मीठे भ्रम के बीच में कुछ पल।











Friday, October 18, 2024

वो जा रही है

 वो जा रही है धीरे धीरे, बार बार पीछे मुड़के अपनी गुलाबी मुस्कराहट की छटा बिखेरती। दूर किसी नए क्षितिज पर अपने यौवन की सुनहरी किरणे बिखेरकर ओस की बूंदों को चमकते मोतियों में बदलने के लिए। शायद जो कुछ यहां अधूरा रह गया उसको पूरा करने के लिए। कुछ अधूरे सपने पूरे करने के लिए। कुछ नीरस आंखों में रोशनी भरने के लिए। कुछ उदास होठों पे शहद जैसी मीठी मुस्कान लाने के लिए। जाओ। तुम्हे रोकने की ख्वाहिश करना जीवन के एक नए आयाम को बाधित करने जैसा होगा। एक मीठी और हल्की सी उदास मुस्कराहट के साथ अलविदा। अच्छे से जाना और खूब खिलना। इतना खिलना की उसकी चमक में आने और जाने की द्वंदात्मक पीड़ा का औचित्य ही ना रहे।